ख़ामोश मुंतज़िर

ख़ामोश रहता हूँ
मगर बेख़बर नहीं मैं
मुंतज़िर हूँ तेरा
पर बेसबर नहीं मैं।

आँधियों के दरम्यां
बे-लौस खड़ा परबत हूँ मैं
वक़्त के दरया में
लुढ़कता हुआ पत्थर नहीं मैं।

मीठे पानी के झरने की
एक छोटी सी बूंद हूँ मैं
ख़ारे पानियों से भरा
मग़रूर समंदर नहीं मैं।

*मुंतज़िर = प्रतीक्षारत (Expectant, One who waits)
*बेसबर = उतावला (Impatient)
*बे-लौस = किसी का लिहाज़ ना करने वाला (Uncompromising, Selfless)
*दरया = नदी (River)

© गगन दीप

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